Home उत्तराखंड गौशाला पर आग लगने से बकरियां और बैल जलकर हुए खाक

गौशाला पर आग लगने से बकरियां और बैल जलकर हुए खाक

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चमोली: विकास खंड नारायणबगड़ के देवपूरी गांव में एक काश्तकार की गौशाला पर अलग सुबह आग लगने से बकरियां और बैल जल कर राख हो गए हैं जिसमें कुछ नगद जमा-पूंजी और मोबाइल फोन भी जल गए।
प्राप्त जानकारी के अनुसार देवपूरी गांव निवासी सरोपसिंह पुत्र आलम सिंह ने सुबह घर से ठांडला तोक में गौशाला जाकर अपने बकरियों और बैलों को चारा पानी देकर गौशाला बंद कर जंगल की तरफ चारापत्ती लेने चला गया। ग्राम प्रधान संगीता देवी ने बताया कि सरोपसिंह की गौशाला गांव से काफ़ी दूर है जब ग्रामवासियों और अगल बगल के गांवों से लोगों के फ़ोन आए कि देवपूरी गांव के ऊपर जंगल में भारी आग की लपटे और धुंआ दिखाई दे रहा तो उन्होंने ग्रामीणों के साथ लेकर धुएं की ओर गए तो देखा कि वहां तो सरोपसिंह की गौशाला जलकर राख हो गई है तथा आग जंगल की तरफ भी बढ़ रही है। उन्होंने बताया कि गौशाला के पास पीड़ित सरोपसिंह भी बुरी तरह झुलसकर गौशाला के पास मूर्छित अवस्था में मिला जिनको तत्काल ग्रामीणों के माध्यम से उपचार के लिए अस्पताल भेजा गया। बताया कि ग्रामीण की मदद से आग बुझाने के बहुत प्रयास किए गए लेकिन तब तक सबकुछ जलकर राख हो चुके थे थी। सूचना दिए जाने पर राजस्व विभाग और पशुपालन विभाग के कर्मचारी घटना स्थल पर पहुंचे और जले हुए मवेशियों और बकरियों की जांच-पड़ताल कर आगे की कार्यवाही शुरू कर दी है। पशुपालन विभाग के क्षेत्र प्रसार अधिकारी विजय सिंह रावत ने बताया कि मौके पर सरोपसिंह की पैंतीस बकरियों में से 27 बकरियां जली कर बिल्कुल राख हो रखीं हैं तथा दो बैल भी स्वाहा हो गए हैं जबकि एक बैल गंभीर घायलावस्था में मिला है और पंचनामा आदि की कार्यवाही चल रही है। ग्रामीण रघुवीर सिंह, राजेन्द्र सिंह, हरपाल सिंह,योगबर सिंह,दर्शन सिंह,नंदन रमोला, सचिन आदि घायल सरोपसिंह को उपचार के लिए लेकर प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र आए जहां फार्मेसिस्ट जगजीत सिंह नेगी ने आग से झुलस गए घायल का उपचार कर हायर सेंटर रेफर कर दिया। ग्रामीणों ने बताया कि सरोपसिंह बहुत ही गरीब आदमी है तथा किसी तरह अपनी आजीविका चलाने के लिए लोगों से कर्ज लेकर कुछ बकरियां पालने का काम कर रहा था जिससे उसके परिवार का पालन पोषण कर रहा था लेकिन अब वह इस घटना वह सदमे में हैं। ग्रामीणों ने शासन प्रशासन से पीड़ित को न्यायोचित मुआवजा देने की मांग की है। पीड़ित के पुत्र दीपक ने बताया कि उनकी बकरियां और बैल जल गए और गौशाला में रखे करीब चालीस हजार रुपए नगद और एक मोबाइल फोन भी जल गए हैं।